थाईलैंड का बड़ा एविएशन सपना।

एयरपोर्ट्स ऑफ थाईलैंड (AOT) सचमुच ऊँचाइयों को छूने की तैयारी में है। हाल ही में हांगकांग में हुए वर्ल्ड रूट डेवलपमेंट फोरम 2025 में AOT ने थाईलैंड की वैश्विक कनेक्टिविटी बढ़ाने की दिशा में बड़ा कदम उठाया। इसका मकसद क्या है? एशिया के अग्रणी एविएशन हब के रूप में देश को स्थापित करना।

फोरम में क्या हुआ?

इस इवेंट में दुनिया भर से 770 से ज़्यादा एविएशन और टूरिज़्म से जुड़े खिलाड़ी शामिल हुए जिनमें एयरलाइंस, एयरपोर्ट्स और ट्रैवल अथॉरिटीज़ शामिल थे। AOT के प्रतिनिधि सिर्फ शामिल ही नहीं हुए, बल्कि उन्होंने नए अंतरराष्ट्रीय मार्गों और थाईलैंड के प्रमुख एयरपोर्ट्स के लिए फ्लाइट फ़्रीक्वेंसी बढ़ाने का प्रस्ताव भी रखा। यह सब उनके एयर सर्विस डेवलपमेंट (ASD) फीज़िबिलिटी स्टडी पर आधारित है, जिसमें उन वैश्विक गंतव्यों की पहचान की गई है जहाँ लाभदायक कनेक्शन बनाए जा सकते हैं।

किन एयरलाइंस से हुई बातचीत?

AOT ने दुनियाभर की कई एयरलाइंस से बातचीत की। मुख्य बातें इस प्रकार हैं:

क्षेत्र एयरलाइंस जिनसे AOT ने बातचीत की
यूरोप फ्रेंच बी, प्लस अल्ट्रा
अमेरिका डेल्टा एयर लाइन्स, अमेरिकन एयरलाइंस
भारत इंडिगो, एयर इंडिया
ऑस्ट्रेलिया वर्जिन ऑस्ट्रेलिया, जेटस्टार
चीन शेडोंग एयरलाइंस, स्प्रिंग एयरलाइंस
अन्य गरुड़ा इंडोनेशिया, ओमान एयर, एयर न्यूज़ीलैंड

इतनी विविध एयरलाइंस से जुड़कर AOT साफ़ तौर पर यह दिखा रहा है कि उसका मकसद रूट्स को विविध बनाना और थाईलैंड को एक वैश्विक कनेक्टर के रूप में मजबूत करना है।

यात्रियों के लिए इसका क्या मतलब है?

सोचिए, अगर फ्लाइट रूट्स बढ़ते हैं तो यात्रा आसान, तेज़ और कई बार सस्ती भी हो जाती है। अगर AOT सफल होता है, तो यात्रियों को थाईलैंड के लिए ज्यादा डायरेक्ट फ़्लाइट विकल्प मिलेंगे, और लंबे लेओवर से छुटकारा मिलेगा। देश के लिए इसका मतलब है पर्यटन में बढ़ोतरी और मज़बूत व्यापारिक रिश्ते।

सरकारी नीतियों से जुड़ी योजना

यह पहल सिर्फ़ विमानों को भरने तक सीमित नहीं है। यह एक बड़े रणनीतिक कदम का हिस्सा है, जो सरकारी नीतियों से जुड़ा है। थाईलैंड अपनी एविएशन इंफ़्रास्ट्रक्चर को आधुनिक बनाना चाहता है और वैश्विक एयर ट्रैफ़िक में बड़ा हिस्सा पाना चाहता है। ऐसे फोरम में AOT की सक्रिय भागीदारी यह दर्शाती है कि वे मौके का इंतज़ार नहीं कर रहे, बल्कि खुद मौके बना रहे हैं।

निष्कर्ष

हांगकांग फोरम में AOT की मौजूदगी ने यह साबित किया है कि उनका मकसद सिर्फ़ थाईलैंड को एक ट्रैवल डेस्टिनेशन बनाना नहीं है, बल्कि उसे एक सच्चा एविएशन हब बनाना है। कई एयरलाइंस से हो चुकी चर्चाओं और डेटा-आधारित योजनाओं के साथ, आने वाले समय में थाईलैंड का आसमान और भी व्यस्त होने वाला है।

Leave a Comment